जेएनयू में शरजील इमाम के समर्थन में निकला जुलूस, लगे “कश्मीर पर हमला नहीं सहेंगे” के नारे

अपने भड़काऊ भाषणों के चलते चर्चा में आए शरजील इमाम को लेकर जेएनयू के कुछ छात्र समर्थन में आए हैं। सोमवार शाम जेएनयू परिसर में शरजील इमाम और आफरीन फातिमा के समर्थन में छात्रों ने जुलूस निकाला। इस दौरान छात्रों ने जमकर नारेबाजी की। खासबात यह रही कि इस नारेबाजी में कश्मीर पर हमला नहीं सहेंगे के नारे भी लगे। वहीं छात्र नेता पीएम मोदी, अमित शाह के खिलाफ भी नारेबाजी की।

जेएनयू हमेशा से ही कैंपस में लगने वाले नारों से विवाद में रहा है। 2016 में अफ़ज़ल गुरु को लेकर नारे लगाने का आरोप भी जेएनयू के छात्रों के ऊपर लगा था और अब 2019 में 27 जनवरी को देशद्रोह के आरोपी जेएनयू छात्र शरजील इमाम के पक्ष में एक बार फिर नारे लगे हैं। शरजील इमाम जेएनयू का छात्र है, उस पर देशद्रोह का मुकदमा है और दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच शरजील इमाम को पकड़ने के लिए देश के अलग-अलग राज्यों में कई दिनों से छापेमारी कर रही है।

कश्मीर को लेकर लगे नारे 

जेएनयू में “कश्मीर पर हमला नहीं सहेंगे” जैसे नारे भी इस प्रदर्शन मार्च में लगाए गए। हालांकि इस नारे के बाद वहां आसपास खड़े कुछ छात्र असहज भी दिखे। छात्रों का कहना था कि शरजील इमाम पर देशद्रोह का मुकदमा शाहीन बाग के प्रदर्शन को खत्म करने के लिए किया गया है। गौरतलब है कि अभी तक शरजील इमाम ने पुलिस या कोर्ट के सामने सरेंडर नहीं किया है और वह फरार चल रहा है। जिसकी तलाश में दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच जगह-जगह छापेमारी कर रही है।

रात दस बजे निकला जुलूस 

शरजील इमाम के पक्ष में जेएनयू के छात्रों ने सोमवार रात प्रदर्शन मार्च किया और शरजील के पक्ष में नारे लगाए। यह प्रदर्शन मार्च रात 10:00 बजे गंगा ढाबे से शुरू हुआ और कावेरी पेरियार साबरमती माही मांडवी हॉस्टल के आगे से गुजरता हुआ चंद्रभागा हॉस्टल पर खत्म हुआ। प्रदर्शन कर रहे छात्रों का कहना था की शरजील बेकसूर है और शरजील इमाम के ऊपर से देशद्रोह का मुकदमा वापस लिया जाए इस प्रदर्शन में विवादित बोल बोलने वाली जेएनयू की छात्रा आफरीन फातिमा भी शामिल हुई।

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