Kejriwal wrote a letter : केजरीवाल ने जेल सुप्रिडेंटेंट को लिखी चिट्ठी 2, लिखा ‘मैं रोज इंसुलिन मांग रहा हूं

तिहाड़ प्रशासन के बयान झूठे',

 

Kejriwal wrote a letter to the jail superintendent: केजरीवाल ने जेल सुप्रिडेंटेंट को लिखी चिट्ठी, लिखा 'मैं रोज इंसुलिन मांग रहा हूं, Kejriwal wrote a letter to the jail superintendent: दिल्‍ली के मुख्‍यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने अपने शुगर मामले में और तिहाड़ जेल प्रशासन के उन्‍हें इंसुलिन मुहैया नहीं कराने को लेकर जेल सुप्रिडेंटेंट को चिट्ठी लिखी है.चिट्ठी में मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कहा कि मैंने अखबार में तिहाड़ प्रशासन का बयान पढ़ा. केजरीवाल ने आगे कहा कि मुझे बयान पढ़कर दुख हुआ, तिहाड़ जेल प्रशासन के दोनों बयान झूठे हैं. केजरीवाल ने कहा कि मैं रोज इंसुलिन मांग रहा हूं.

Kejriwal wrote a letter : तिहाड़ जेल के अधिकारियों का बयान

रविवार को तिहाड़ जेल के अधिकारियों ने बयान जारी कर कहा कि अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) के एक वरिष्ठ डॉक्टर ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को तबीयत पर सलाह दी. इंसुलिन का मुद्दा न तो अरविंद केजरीवाल द्वारा उठाया गया था और न ही वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के दौरान डॉक्टरों ने सुझाया था.

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Kejriwal wrote a letter : रोज इंसुलिन की कर रहा मांग

सीएम केजरीवाल ने चिट्ठी में कहा कि तिहाड़ प्रशासन का पहला बयान था कि अरविंद केजरीवाल ने इन्सुलिन का मुद्दा कभी नहीं उठाया. जिस पर जवाब देते हुए सीएम ने कहा कि यह सरासर झूठ है. मैं पिछले 10 दिन से लगातार इन्सुलिन का मुद्दा उठा रहा हूं, दिन में कई बार उठा रहा हूं  .http://रविवार को आई थी ये रिपोर्ट

जब भी कोई डॉक्टर मुझे देखने आया तो मैंने बताया कि मेरा शुगर लेवल बहुत हाई है. मैंने ग्लूको-मीटर की रीडिंग दिखा कर बताया कि दिन में 3 बार पीक आती है और शुगर लेवल 250-320 के बीच जाता है. मैंने बताया कि फास्टिंग का शुगर लेवल रोज 160-200 पर है. मैंने रोज इन्सुलिन की मांग की है. तो आप यह झूठा बयान कैसे दे सकते हैं कि केजरीवाल ने कभी इन्सुलिन का मुद्दा नहीं उठाया?

Kejriwal wrote a letter : रविवार को आई थी ये रिपोर्ट

इससे पहले रविवार को खबर आई थी कि सुनीता केजरीवाल के अनुरोध पर तिहाड़ जेल प्रशासन ने वीसी के जरिए डॉक्टर के साथ दिल्ली के मुख्यमंत्री का कंसल्टेशन कराया. एम्स के सीनियर डायबिटीज स्पेशलिस्ट के अलावा आरएमओ तिहाड़ और एमओ तिहाड़ भी वीसी के दौरान मौजूद रहे.

डॉक्टर ने सीजीएम (ग्लूकोज मॉनिटरिंग सेंसर) का पूरा रिकॉर्ड और केजरीवाल द्वारा लिए जा रहे आहार और दवाओं का पूरा विवरण लिया. इस दौरान अरविंद केजरीवाल द्वारा न तो इंसुलिन का मुद्दा उठाया गया और न ही डॉक्टर ने उन्हें इसके प्रयोग का सुझाव दिया.

Kejriwal wrote a letter :क्या है विवादित आबकारी नीति? 

अरविंद केजरीवाल की अगुवाई वाली आम आदमी पार्टी (AAP) सरकार, 2021-22 में नई उत्पाद शुल्क नीति या आबकारी नीति ले आई थी. यह नीति नवंबर 2021 में लागू हुई, लेकिन विवाद के बाद जुलाई 2022 में रद्द कर दी गई. पूरा विवाद इसी नीति पर केंद्रित है. उत्पाद शुल्क नीति के संबंध में दो मुकदमें दर्ज हैं. एक सीबीआई द्वारा, और दूसरा कथित मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में ईडी द्वारा.

विवाद की शुरुआत जुलाई 2022 में दिल्ली के मुख्य सचिव नरेश कुमार द्वारा उपराज्यपाल (एलजी) विनय कुमार सक्सेना को सौंपी गई एक रिपोर्ट से हुई, जिसमें दिल्ली उत्पाद शुल्क नीति 2021-22 के निर्माण में कथित प्रक्रियात्मक खामियों की ओर इशारा किया गया था. मुख्य सचिव की रिपोर्ट में कहा गया है कि आबकारी मंत्री के रूप में सिसोदिया द्वारा लिए गए “मनमाने और एकतरफा फैसलों” के परिणामस्वरूप “राजकोष को 580 करोड़ रुपये से अधिक का वित्तीय नुकसान” हुआ.

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मुख्य सचिव ने यह आरोप भी लगाया कि लाइसेंस शुल्क में छूट और विस्तार, जुर्माने पर छूट और कोविड-19 के कारण उत्पन्न व्यवधानों के कारण राहत के बदले आम आदमी पार्टी और इसके नेताओं ने शराब व्यवसायों के मालिकों और संचालकों से रिश्वत ली. इस पैसे का इस्तेमाल पंजाब और गोवा में विधानसभा चुनावों को “प्रभावित” करने के लिए किया गया था. यह रिपोर्ट सीबीआई को भेजी गई और 26 फरवरी, 2023 को सिसोदिया की गिरफ्तारी हुई.

 

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