LAC पर चीन की आक्रमकता और एकतरफा बदलाव बर्दाश्त नहीं-जयशंकर

New Delhi: चीन एलएसी पर कोई भी एकतरफा बदलाव नहीं कर सकता. भारत चीन सैनिकों के बीच अरुणाचल प्रदेश के तवांग में हुई झड़प से संबंधित एक सवाल के जवाब में विदेश मंत्री एस जयशंकर ने चीन को यह चेतावनी दी है. इस झड़प को लेकर विपक्षी दलों ने सरकार को घेरने की कोशिश की थी. कांग्रेस नेता राहुल गांधी, दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल सहित तमाम विपक्षी नेताओं ने सरकार की कथित चुप्पी पर सवाल उठाए थे. अब विदेश मंत्री एस जयशंकर ने उन्हें जवाब दिया. जयशंकर ने कहा कि राहुल गांधी ने जो टिप्पणी की है वो विश्वसनीय नहीं है और अरविंद केजरीवाल के बयान में कोई गंभीरता नजर नहीं आती.

इंडिया टूडे के इंडो-जापान कॉन्क्लेव में विदेश मंत्री ने कहा, “आज, आपके पास चीन सीमा पर भारतीय सेना की तैनाती है जो हमारे पास कभी नहीं थी. यह तैनाती चीनी अक्रामकता का मुकाबला करने के लिए है. भारतीय सेना आज एलएसी पर एकतरफा बदलाव की किसी भी कोशिश का मुकाबला करने के लिए तैयार है. यह भारत सरकार का दायित्व है और भारतीय सेना का कर्तव्य.” विदेश मंत्री ने यह भी कहा कि 2020 के बाद बॉर्डर पर चीन के सैनिकों की संख्या बढ़ी है, इसलिए भारतीय सेना ने भी सैनिकों की संख्या में बढ़ोतरी की.

यह पूछे जाने पर कि सीमा पर तनाव के बावजूद चीन के साथ व्यापार क्यों बढ़ रहा है, विदेश मंत्री ने कहा, “1990 के बाद जब हमने अपनी अर्थव्यवस्था को दुनिया के लिए खोला तब हमने अपने एमएसई सेक्टर पर ध्यान नहीं दिया. ऐसे में हमारे लिए उनके साथ कंपीट करना मुश्किल हो गया. हमने अपने सप्लाई चेन का विकास नहीं किया.” विदेश मंत्री जयशंकर ने कहा कि चीन से जो भी इंपोर्ट किया जा रहा है वो पिछले 30 साल की देन है, जहां हमने अपनी इंडस्ट्रियों को वो सपोर्ट नहीं दिया जो उसे चाहिए था.

विदेश मंत्री जयशंकर ने कहा, “आपने जो 30 साल में किया है, उसे आप 5-10 साल में नहीं बदल सकते. भारत जैसा देश मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर से आगे नहीं बढ़ सकता है.” उन्होंने कहा कि भारत जापान से सीख ले सकता है. रविवार को, दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कहा था कि “हमारे देश के जवान चीन की सीमा पर डटकर सामना कर रहे हैं, उनको जवाब दे रहे हैं, लेकिन इधर भाजपा सरकार की क्या मज़बूरी है कि वो चीन से व्यापार बढ़ाती जा रही है? मैं देश से चीन के सामान का बॉयकॉट करने की अपील करता हूँ. हम भारत में ही बना समान ख़रीद लेंगे.”

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