इस समय पाकिस्तान की आर्थिक चुनौती अकल्पनीय है-शाहबाज शरीफ

islamabad: पाकिस्तान की बदहाल आर्थिक स्थितियों (Economic Crisis) के बीच महंगाई (Inflation) ने लोगों की कमर तोड़ दी है. IMF की सख्त नीतियों के बाद गिर रहे रूपए से तंग आए पाकिस्तानी प्रधानमंत्री शाहबाज शरीफ (PM Shahbaz Sharif) का दर्द सबके सामने आ गया. पाकिस्तानी न्यूज़ वेबसाइट डॉन न्यूज़ की एक रिपोर्ट के अनुसार प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने शुक्रवार को कहा कि सात अरब डॉलर के ऋण कार्यक्रम की नौवीं समीक्षा पर चर्चा के लिए देश का दौरा कर रहा अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) उनके देश के लिए किसी बुरे सपने से कम नहीं है. प्रधानमंत्री ने आगे कहा कि इस समय पाकिस्तान की आर्थिक चुनौती अकल्पनीय है. आईएमएफ की समीक्षा पूरी करने के लिए जिन शर्तों को पूरा करना है, वे कल्पना से परे हैं.

पेशावर में शीर्ष समिति की बैठक को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि देश के पास शर्तों को लागू करने के अलावा कोई विकल्प नहीं बचा है. आपको बता दें कि नाथन पोर्टर की अध्यक्षता में आईएमएफ प्रतिनिधिमंडल और सरकार ने मंगलवार को नौवीं समीक्षा के पूरा होने पर चर्चा शुरू की. डिफॉल्ट से बचने के लिए पाकिस्तान को समीक्षा पूरी करनी होगी. आरिफ हबीब लिमिटेड के अनुसार, 27 जनवरी तक देश का विदेशी मुद्रा भंडार (Foreign Reserves) 3.09 अरब डॉलर के बेहद निचले स्तर तक गिर गया है, जो केवल 18 दिनों के आयात को कवर कर सकता है.

सरकार ने आईएमएफ समीक्षा को पूरा करने के लिए कई उपाय किए हैं, जिसमें विनिमय दर पर एक अनौपचारिक मूल्य सीमा को हटाना, पेट्रोलियम दरों में 16 प्रतिशत तक की बढ़ोतरी करना और एलपीजी की कीमत में 30 प्रतिशत की वृद्धि करना शामिल है. शाहबाज शरीफ ने कहा कि अगर पाकिस्तान को डिफ़ॉल्ट होने से बचाना है तो किसी भी कीमत पर IMF की शर्तों को मानना ही पड़ेगा. गौरतलब है कि IMF की शर्तों के पालन के बाद से इस्लामिक मुल्क में महंगाई में कमर तोड़ वृद्धि हुई है. साथ ही देश की अवाम दाने दाने के मोहताज हो गई है.

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