करतारपुर कॉरिडोर : भारत-पाक के बीच अटारी बॉर्डर पर हो रही बैठक

नई दिल्ली। भारत-पाकिस्तान के अधिकारी करतारपुर कॉरिडोर के निर्माण कार्यों पर विचार-विमर्श करने के लिए आज अंतरराष्ट्रीय अटारी सीमा पर स्थित इंटिग्रेटेड चेक पोस्ट (आईसीपी) पर बैठक हो रही है। सूत्रों की मानें तो इस बैठक में बिना पासपोर्ट करतारपुर साहिब के दर्शन के लिए अनुमति दिए जाने पर भी चर्चा होगी।

इस बैठक में करतारपुर कॉरिडोर के तौर तरीकों को अंतिम रूम देने के लिए चर्चा हो रही है। एसजीपीसी सहित कई सिख संगठनों ने यह मांग उठाई है। करतारपुर कॉरिडोर के निर्माण से सिखों का 70 साल का लंबा इंतजार खत्म होगा। भारत-पाकिस्तान के बढ़े हुए तनाव के बीच यह बैठक काफी अहम होगी। हालांकि यह बैठक सिर्फ करतारपुर कॉरिडोर तक ही सीमित रहेगी।

इसके अलावा भारतीय पक्ष पाकिस्तान में सिख धार्मिक स्थानों पर भारत-विरोधी और खालिस्तानी अगलाववादी दुष्प्रचार का भी मुद्दा उठाएगा। भारत सुनिश्चित करेगा कि पाकिस्तान करतारपुर गुरुद्वारे में अलगाववाद की गतिविधियों की इजाजत नहीं देगा। भारत की तरफ से इस दल में विदेश, सडक़ परिवहन, बीसएफ, राजमार्ग प्राधिकरण समेत कई मंत्रालयों के अधिकारी होंगे। भारतीय शिष्टमंडल की अगुवाई विदेश मंत्रालय के संयुक्त सचिव दीपक मित्तल और गृह मंत्रालय के संयुक्त सचिव अनिल मलिक करेंगे।

वहीं पाकिस्तान शिष्टमंडल का नेतृत्व डायरेक्टर जनरल साउथ एशिया मोहम्मद फैसल करेंगे। पाकिस्तानी प्रतिनिधि मंडल गुरुवार सुबह वाघा सीमा से भारत में प्रवेश करेगा। बता दें कि पाकिस्तान शिष्टमंडल के एक सदस्य और दिल्ली स्थित पाकिस्तान दूतावास के डिप्टी हाई कमिश्नर सईद हैदर शाह देर शाम दिल्ली से अमृतसर पहुंचे गए।

बता दें, करतारपुर कॉरिडोर के निर्माण की मांग भारत दो दशक से करता आ रहा है, जहां गुरुनानक का निधन 1539 में हुआ था। यह धार्मिक स्थल भारतीय सीमा से दिखाई पड़ता है। सिख श्रद्धालुओं को बिना वीजा के पाकिस्तान में एंट्री मिलेगी, सिर्फ टिकट लेना होगा।

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