Karnataka LIVE: बीएस येदियुरप्पा शपथ के बाद विधानसभा पहुंचे, कांग्रेस विधायकों का विरोध प्रदर्शन

नई दिल्ली: बीएस येदियुरप्पा ने कर्नाटक के 25वें मुख्यमंत्री के तौर पर शपथ ली। यह तीसरी बार है जब येदियुरप्पा को कर्नाटक के मुख्यमंत्री की कुर्सी मिली है। उन्हें राजभवन में राज्यपाल वजूभाई वाला ने पद और गोपनीयता की शपथ दिलाई। जब शपथ लेने के लिए वो राजभवन पहुंचे तब बीजेपी के नेताओं ने उनका स्वागत किया। राजभवन पहुंचते ही उन्होंने विक्ट्री का साइन दिखाकर ये संकेत देने की कोशिश की कि विरोधी चाहे जितनी भी कोशिश क्यों न कर लें उन्हें सीएम बनने से कोई नहीं रोक सकता है। येदियुरप्पा की ईश्वर में काफी आस्था है और ये आस्था आज भी दिखी। राजभवन पहुंचने से पहले उन्होंने अपने आराध्य देव की पूजा-अर्चना की और आशीर्वाद लिया।

-बीएस येदियुरप्पा शपथ के बाद विधानसभा पहुंचे

-सभी विधायक मौजूद हैं। जो 2 विधायक मौजूद नहीं हैं अभी वे वापस आएंगे, मैं खुद मैंगलुरु से वापस आया हूं: कांग्रेस विधायक, बेंगलुरु
-एचडी देवगौड़ा अपने घर से होटल के लिए निकले जहां जेडीएस विधायकों को रखा गया है
-कांग्रेस के विधायक और नेता गुलाम नबी आजाद, अशोक गहलोत और सिद्धारमैया विधानसभा परिसर में स्थित गांधी की प्रतिमा के पास प्रदर्शन करने के लिए जमा हुए
-हम लोगों के पास जाएंगे और उन्हें बताएंगे कि किस तरह बीजेपी संविधान का अपमान कर रही है: पूर्व सीएम सिद्धारमैया
-बीजेपी ने संविधान का अपमान किया है: पूर्व सीएम सिद्धारमैया
-अनंत कुमार ने कहा कि अगर कांग्रेस प्रदर्शन करना चाहती है तो उसे राहुल गांधी, सोनिया गांधी और सिद्धारमैया के खिलाफ प्रदर्शन करना चाहिए क्योंकि इन तीनों ने कांग्रेस को बर्बाद कर दिया है
-कांग्रेस और जेडीएस के विधायक रिजॉर्ट से विधानसभा में प्रदर्शन करने के लिए निकले
-बीएस येदुरप्पा ने सीएम पद की शपथ ले ली है। राज्यपाल वजुभाई ने उन्हें शपथ दिलाई
-बीएस येदियुरप्पा राजभवन पहुंचे, थोड़ी देर में सीएम के तौर पर तीसरी बार लेंगे शपथ
-शपथ लेने से पहले येदुरप्पा ने मंदिर में जाकर पूजा अर्चना की है
-शपथ ग्रहण के मौके पर केंद्रीय मंत्री जेपी नड्डा, धर्मेंद्र प्रधान और प्रकाश जावडेकर भी राजभवन में मौजूद हैं
-राजभवन के बाहर बड़ी संख्या में बीजेपी के समर्थक पहुंच गए हैं। इस दौरान बीजेपी के समर्थकों ने वंदे मातरम और मोदी-मोदी के नारे लगाए-येदियुरप्पा अपने घर से राजभवन के लिए निकले, सीएम के तौर पर तीसरी बार लेंगे शपथ
-येदियुरप्पा का जन्म 27 फ़रवरी 1943 को हुआ। उनका पूरा नाम बुकानाकेरे सिद्दलंगप्पा येदियुरप्पा है
-गवर्नर ने बहुमत साबित करने के लिए 15 दिन का वक्त दिया
-शपथ ग्रहण से पहले बेंगलुरू में राजभवन के सामने कलाकारों ने गाजे बाजे के साथ जश्न मनाना शुरू कर दिया है

-कांग्रेस ने हॉर्स ट्रेडिंग की आशंका को देखते हुए अपने विधायकों को छिपा दिया है। कांग्रेस ने बेंगलुरू के पास ईगलटन रिसॉर्ट में शिफ्ट कर दिया है

कर्नाटक के राज्यपाल वजुभाई वाला के बीएस येदियुरप्पा को मुख्यमंत्री पद की शपथ दिलाने के फैसले के खिलाफ कांग्रेस और जनता दल (सेक्युलर) सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया जहां करीब साढ़े तीन घंटे तक चली ऐतिहासिक मिडनाइट सुनवाई के बाद दोनों को झटका लगा है। कोर्ट ने साफ कर दिया कि वो आज सुबह नौ बजे होने वाले बीएस येदियुरप्पा के शपथ ग्रहण को नहीं रोकेगा। यानी बेंगलुरू में अब से कुछ घंटों बाद येदियुरप्पा एक बार फिर कर्नाटक के सीएम के तौर पर शपथ लेंगे। आधी रात के बाद करीब साढ़े तीन घंटे तक चली सुनवाई के बाद सुप्रीम कोर्ट की तीन जजों की बेंच ने कांग्रेस के खिलाफ फैसला सुनाया। इस बेंच में जस्टिस अशोक भूषण, जस्टिस सीकरी और जस्टिस बोबडे शामिल थे।

कोर्ट ने साफ कर दिया कि वो येदियुरप्पा की शपथ को नहीं रोकेगा। हालांकि कोर्ट कल सुबह साढ़े दस बजे फिर से इस मामले पर सुनवाई करेगी। इसके साथ ही कोर्ट ने ये भी कहा कि सुनवाई से पहले कोर्ट के सामने दोनों पक्षों को समर्थन पत्र पेश करना होगा। बता दें कि बुधरवार रात को राज्यपाल वजुबाला भाई ने सबसे बड़ी पार्टी के नेता येदियुरप्पा को सरकार बनाने का न्योता दिया था जिसके खिलाफ कांग्रेस और जेडीएस ने सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया और आधी रात को ही सुनवाई की मांग की।

कांग्रेस का तर्क था कि शपथ ग्रहण सुबह 9 बजे है और कोर्ट दस बजे के बाद खुलता है ऐसे में उसकी अर्जी पर अर्जेंट तौर पर सुनवाई की जाए। कोर्ट ने कांग्रेस की अर्जी मंजूर की और सुनवाई के दौरान दोनों तरफ से जोरदार बहस हुई। साढ़े तीन घंटे से भी ज्यादा समय तक चली मैराथन सुनवाई के बाद अदालत ने साफ कर दिया कि वो राज्यपाल के फैसले पर रोक नहीं लगाएगी। कोर्ट की इस टिप्पणी से कांग्रेस-जेडीएस को बड़ा झटका लगा। कांग्रेस के वकील अभिषेक मनु सिंघवी ने तमाम तरह की दलीलें दीं लेकिन कोर्ट उनकी दलीलों से संतुष्ट नहीं हुआ।

बीजेपी को मौका मिल गया है कि वो कर्नाटक में सरकार बना लें लेकिन कोर्ट में कई सवालों का जवाब केंद्र की ओर से वकील एटर्नी जनरल के पास भी नहीं था। कोर्ट ने पूछा था कि 15 दिन का वक्त क्यों दिया गया तो एटर्नी जनरल अपने जवाव से कोर्ट को संतुष्ट नहीं कर पाये। भाजपा राज्य में हुए विधानसभा चुनाव में 104 सीटें हासिल करके सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी है। वहीं चुनाव के बाद बने कांग्रेस-जद (एस) गठबंधन के 116 विधायक हैं। इस गठबंधन ने भी राज्यपाल के पास सरकार बनाने का दावा पेश किया था।

Related Articles

Back to top button