जांच रिपोर्ट सामने आने पर प्रकाश जावड़ेकर ने विपक्ष पर किया वार

नई दिल्ली। केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने जेएनयू हिंसा की दिल्ली पुलिस द्वारा की गई जांच पर शुक्रवार को कहा कि सच्चाई सामने आ गई है। उन्होंने कहा कि पहले ऐसा लगता था कि सिर्फ अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (एबीवीपी) के लोग ही हिंसा में शामिल थे। जावड़ेकर ने कहा, अब बात साफ हो गई है कि हिंसा में लेफ्ट के लोग बड़े पैमाने पर शामिल थे। जेएनयू में पेरियार हॉस्टल में लेफ्ट के लोगों ने विद्यार्थी परिषद के बच्चों के साथ मारपीट की, चुन-चुनकर पीटा।

एक जनवरी को जेएनयू के सर्वर रूम को तोड़ा गया। छात्रों को रजिस्ट्रेशन से जबरन रोका गया। अब साफ है कि कुछ राजनीतिक पार्टियों के उकसावे पर छात्रों ने तोड़-फोड़ की और मारपीट की। जिन नौ लोगों को पुलिस ने नामजद किया है, उसमें से सात वामपंथी स्टूडेंट्स हैं। जावड़ेकर ने आरोप लगाया कि कांग्रेस, आप और लेफ्ट के इशारे पर हिंसा फैलाई गई।

हर साल जेएनयू पर 800 करोड़ रुपये खर्च होता है। यह पैसा जनता की गाढ़ी कमाई है। छात्र सोचें कि उनके माता-पिता उनको पढऩे के लिए जेएनयू भेजते हैं, न कि राजनीति के लिए। उन्होंने छात्रों से अपील की सबकुछ भूलाकर फिर से पढ़ाई करें और शिक्षण सत्र में भाग लें। जावड़ेकर ने यह भी कहा कि छात्र अपनी मांग को चर्चा के जरिए हल करें।

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